ShahRukh Khan: क्रूज पार्टी की घटना के सिलसिले में अभिनेता शाहरुख खान और समीर वानखेड़े से जुड़े रिश्वत मामले की जांच वर्तमान में केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) द्वारा की जा रही है। हाल ही में, बॉम्बे हाईकोर्ट में एक जनहित याचिका (PIL) दायर की गई है, जिसमें अदालत से शाहरुख खान को मामले में आरोपी के रूप में नामित करने का आग्रह किया गया है।
याचिकाकर्ता राशिद खान ने अनुरोध किया है कि शाहरुख खान का नार्को, ब्रेन मैपिंग और लाई डिटेक्टर टेस्ट कराया जाए। जनहित याचिका पर 20 जून को सुनवाई होनी है।
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याचिका के अनुसार, सीबीआई ने समीर वानखेड़े के खिलाफ प्रथम सूचना रिपोर्ट (एफआईआर) दर्ज की है, जो उस समय नारकोटिक्स कंट्रोल ब्यूरो (एनसीबी) के जोनल निदेशक थे। प्राथमिकी में आरोप लगाया गया है कि वानखेड़े ने केपी गोसावी के माध्यम से शाहरुख खान के साथ संपर्क किया, 25 करोड़ रुपये से लेकर 18 करोड़ रुपये तक की रिश्वत की सुविधा दी और बाद में 50 लाख रुपये स्वीकार किए। याचिका में भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम की धारा 12 का आह्वान किया गया है, जो रिश्वत देने वाले और लेने वाले दोनों को जवाबदेह ठहराती है। रिश्वत लेने का दोषी साबित होने पर अधिनियम के प्रावधानों के अनुसार आरोपी को पांच साल तक की कैद हो सकती है।
नार्को टेस्ट की मांग
CBI द्वारा जांच किए जा रहे चल रहे मामले में, यह आरोप लगाया गया है कि समीर वानखेड़े ने केपी गोसावी नाम के एक गवाह के माध्यम से शाहरुख खान से रिश्वत स्वीकार की थी। इन आरोपों के आलोक में, वकील राशिद ने उच्च न्यायालय का दरवाजा खटखटाया, जिसमें उन्होंने मामले में शाहरुख खान को एक आरोपी के रूप में नामित करने और अभिनेता का नार्को और लाई डिटेक्टर टेस्ट कराने का आग्रह किया। इसके अलावा, याचिका में मुंबई पुलिस के उन अधिकारियों के खिलाफ कार्रवाई की भी मांग की गई है जिन्होंने वानखेड़े और अन्य को भ्रष्टाचार के मामले में किसी भी तरह की संलिप्तता से मुक्त कर दिया था।